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पापा

पापा मेरे सपनों का वो प्रतिबिम्ब है  जो हमारे हर सपने को पूरा करते है  हमारी हर जिज्ञासा को पूरा करते है  हमारे लड़खड़ाते कदम को हाथों से संभा...

शुक्रवार, 3 फ़रवरी 2017

सत्य

सत्य क्या है?
कोई सपना, कोई कहानी
या पिता से पुत्र को मिली हुई धरोहर
या अपने अंतर्मन की आवाज़
सत्य सागर है, हमारे अंतर्मन
का वो सागर है
जिसे जितना भर दो,
फिर भी जगह खाली है!

सत्य हमारे समाज की नींव हैं
जिसे जितना सींचो
समाज का विकास उतना ही अधिक होगा
सत्य डर का नहीं, साहस का नाम है
सत्य हार का नही, जीत का नाम है
सत्य गैरों के लिए नहीं,
अपनों का पैगाम है
जिसने इसे पढ़ लिया

जीवन सचमुच उसका धन्य हैं!

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